जनभागीदारी, नवाचार, पारदर्शिता और समयबद्ध क्रियान्वयन से सफल होगा आकांक्षात्मक विकास कार्यक्रम: मुख्यमंत्री

Aspirational development program will be successful with public participation, innovation, transparency and timely implementation: Chief Minister

  • आकांक्षात्मक जनपदों और विकास खंडों की प्रगति की मुख्यमंत्री ने की समीक्षा
  • नवाचारों की सराहना, रिक्त पदों पर तत्काल तैनाती के निर्देश
  • आकांक्षात्मक क्षेत्रों को मुख्यधारा से जोड़ने की प्रक्रिया में उत्तर प्रदेश आगे, मुख्यमंत्री ने जताई प्रतिबद्धता
  • गोंडा से बलिया तक स्वयं सहायता समूहों और एफपीओ के नवाचारों ने दिखाई ग्रामीण सशक्तिकरण की राह
  • रिक्त पदों पर तैनाती तत्काल हो, प्रभारी अधिकारी की व्यावहारिक उपलब्धता पर विशेष जोर
  • मुख्यमंत्री ने कहा: विकास की सही तस्वीर के लिए डेटा संग्रह प्रणाली को बनाएं और सुदृढ़
  • फील्ड विजिट में कुछ क्षेत्रों में बुनियादी सेवाओं की निरंतरता, मानव संसाधन की पर्याप्त उपलब्धता और सेवा वितरण प्रणाली में सुधार की मिली आवश्यकता, मुख्यमंत्री ने सभी संबंधित विभागों को तत्काल प्रभावी कदम उठाने के निर्देश दिए

रक्षा-राजनीति नेटवर्क

लखनऊ : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जनभागीदारी, नवाचार, पारदर्शिता और समयबद्ध क्रियान्वयन को आकांक्षात्मक विकास खंड एवं आकांक्षात्मक जनपद कार्यक्रम की सफलता का मूल आधार बताया है। मुख्यमंत्री ने कहा है कि प्रदेश सरकार आकांक्षात्मक क्षेत्रों को विकास की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए पूर्ण प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है। सभी विभाग सामूहिक समन्वय और ठोस कार्ययोजना के साथ अपने लक्ष्यों की प्राप्ति की दिशा में आगे बढ़ें।

मुख्यमंत्री, रविवार को प्रदेश के आकांक्षात्मक जनपदों एवं विकास खंडों की प्रगति की गहन समीक्षा कर रहे थे। बैठक में उनके निर्देशानुसार वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा किए गए स्थलीय भ्रमण की रिपोर्ट प्रस्तुत की गई, जिसमें जमीनी स्तर पर योजनाओं के क्रियान्वयन, नवाचारों की उपलब्धि तथा आवश्यक सुधार बिंदुओं पर विस्तार से चर्चा की गई।

फील्ड विजिट रिपोर्ट के अनुसार, 108 आकांक्षात्मक विकास खंडों में कुल 272 विद्यालय, 301 आंगनबाड़ी केंद्र, 232 स्वास्थ्य इकाइयाँ, 229 ग्राम पंचायत सचिवालय एवं 275 अन्य संस्थानों का निरीक्षण किया गया। वर्तमान में 497 एफपीओ सक्रिय हैं और 6595 बीसी सखी वित्तीय समावेशन के क्षेत्र में कार्य कर रही हैं। 106 विकास खंडों ने ‘ब्लॉक डेवेलपमेंट स्ट्रेटजी’ के अनुरूप अपने लक्ष्यों की प्राप्ति की है। इसी क्रम में प्रमुख सचिव/सचिव स्तर के वरिष्ठ अधिकारियों ने राज्य के 08 आकांक्षात्मक जनपदों—बहराइच, बलरामपुर, चंदौली, चित्रकूट, फतेहपुर, सिद्धार्थनगर, सोनभद्र और श्रावस्ती का भी गहन निरीक्षण किया।

मुख्यमंत्री ने विकास की वास्तविक स्थिति के प्रभावी मूल्यांकन के लिए डेटा संग्रहण प्रणाली को और बेहतर करने पर बल दिया। उन्होंने यह भी निर्देश दिया कि निरीक्षण रिपोर्टों के आंकड़ों का विश्लेषण करते हुए योजनाओं की गहन मॉनिटरिंग सुनिश्चित की जाए।

भ्रमण के दौरान प्रकाश में आये अच्छे कार्यों से मुख्यमंत्री को अवगत कराते हुए बताया गया कि बलरामपुर जनपद में ‘मां पाटेश्वरी पुनर्वास योजना’ के अंतर्गत बाढ़ प्रभावितों के पुनर्वास की प्रभावी व्यवस्था की गई है। चित्रकूट में सभी ग्राम पंचायतों में कॉमन सर्विस सेंटर स्थापित किए गए हैं तथा स्वास्थ्य और पोषण संकेतकों में उल्लेखनीय सुधार दर्ज किया गया है। अमेठी के शुकुलबाजार में तैनात सीएम फेलो द्वारा घर-घर जाकर 2,198 आयुष्मान कार्ड बनाए गए, 106 आंगनबाड़ी केंद्रों पर वजन मशीनें क्रियाशील कराई गईं और पात्र बच्चों को मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना से जोड़ा गया।

विकास की दिशा में हुए नवाचारों की मुख्यमंत्री ने विशेष सराहना की। महोबा के कबरई विकास खंड में कार्यरत “आशियाना बायो एनर्जी फार्मर प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड” द्वारा हस्तकला, खाद्य पदार्थों आदि हेतु मार्ट, नर्सरी सोलर पैनल, जैविक कृषि, फार्म मशीनरी, बायोगैस संयंत्र और ग्रामीण पर्यटन को समाहित कर हट्स, सेल्फी पॉइंट और रेस्टोरेंट की व्यवस्था की गई है। बांसडीह बलिया में ऑर्गेनिक तरीके से 06 हेक्टेयर में नींबू का उत्पादन एवं निर्यात के प्रयासों की मुख्यमंत्री ने सराहा। इसी प्रकार, पूरेडलई बाराबंकी में प्रतिभा महिला स्वयं सहायता समूह द्वारा संचालित ब्यूटी पार्लर से लगभग 15 हजार की आमदनी के प्रयासों को भी सराहना मिली।

इसी प्रकार, जनपद फतेहपुर में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र स्तर पर स्थापित आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित कैंसर स्क्रीनिंग सेंटर को तकनीकी नवाचार का उत्कृष्ट उदाहरण बताते हुए उन्होंने कहा कि ऐसे प्रयोग अन्य जनपदों में भी अपनाए जाने चाहिए। उन्होंने निर्देश दिया कि जिन क्षेत्रों में नवाचारों के माध्यम से बेहतर परिणाम सामने आए हैं, वहां की कार्यप्रणाली को अन्य ब्लॉकों में दोहराया जाए।

भ्रमण के दौरान अधिकारियों ने विद्यालयों, आंगनबाड़ी केंद्रों, स्वास्थ्य इकाइयों, ग्राम सचिवालयों, स्किल सेंटरों, पोषण पुनर्वास केंद्रों और एफपीओ इकाइयों का विस्तृत निरीक्षण किया। कुछ क्षेत्रों में बुनियादी सेवाओं की निरंतरता, मानव संसाधन की पर्याप्त उपलब्धता और सेवा वितरण प्रणाली में सुधार की आवश्यकता को रेखांकित किया गया, जिस पर मुख्यमंत्री ने सभी संबंधित विभागों को तत्काल प्रभावी कदम उठाने के निर्देश दिए।

मुख्यमंत्री ने स्पष्ट कहा कि आकांक्षात्मक जनपद और विकास खंड राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता में हैं। इन क्षेत्रों में किसी भी महत्वपूर्ण पद पर रिक्ति स्वीकार्य नहीं है। उन्होंने निर्देश दिया कि जहां भी रिक्तियां हैं, वहां त्वरित नियुक्ति सुनिश्चित की जाए। उन्होंने यह भी कहा कि किसी पद पर कार्यभार सौंपते समय यह अवश्य देखा जाए कि संबंधित प्रभारी अधिकारी दोनों स्थानों पर व्यावहारिक रूप से उपलब्ध रह सकता है। ऐसी स्थिति में यह उचित नहीं होगा कि प्रभार जनपद के बाहर पदस्थ किसी अन्य अधिकारी को दिया जाए, जिससे कार्य की गति प्रभावित हो।

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