200 केन्द्रों के लक्ष्य की ओर बढ़ रहे ‘ताराशक्ति केंद्र’ : डॉ. राजेश्वर सिंह ने 5 नए केन्द्रों का किया लोकार्पण

'Tarashakti Kendra' moving towards the target of 200 centers: Dr. Rajeshwar Singh inaugurated 5 new centers

रक्षा-राजनीति नेटवर्क

लखनऊ : सरोजनीनगर विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह ने बुधवार को अपनी विधानसभा क्षेत्र में 5 नए ताराशक्ति केन्द्रों का लोकार्पण कर महिलाओं को समर्पित किया। मुजाफ़रखेड़ा, लालनगर हरदोइया, लालताखेडा, ऐन और पिपरसंड में स्थापित इन केन्द्रों के संचालन के साथ सरोजनीनगर में अब तक विधायक द्वारा 140 ताराशक्ति सिलाई केन्द्रों की स्थापना की जा चुकी है। इन केन्द्रों की स्थापना के लिए डॉ. राजेश्वर सिंह ने 1500 से अधिक मशीने प्रदान की जिमें मैन्युअल और आटोमेटिक सिलाई मशीनें, पीको और इंटरलॉकिंग मशीनें शामिल हैं। अपनी स्वर्गीय माँ तारा सिंह की स्मृति में विधायक द्वारा स्थापित किये जा रहे ये केंद्र केवल सिलाई सेंटर तक सीमित नहीं हैं ये महिला सशक्तिकरण की दिशा में डॉ. सिंह के 5 प्रमुख दृष्टिकोण का प्रतिबिम्ब हैं।

1 महिला सशक्तिकरण और स्वावलंबन : इन केंद्रों की स्थापना का उद्देश्य महिलाओं को अपने और अपने परिवार की उन्नति अपने बच्चों के उज्जवल भविष्य के निर्माण के लिए घर की दहलीज से बाहर निकल कर एक सुरक्षित वातावरण, रोजगार और स्वरोजगार के नए अवसर प्रदान करना है। इस पहल के माध्यम से अब तक अबतक 7 हजार से अधिक महिलायें जुड़ चुकी हैं। डॉ. राजेश्वर सिंह सिलाई सेंटर के संचालन तथा सिलाई कढाई प्रशिक्षण के लिए निःशुल्क संसाधन प्रदान करते हैं।

2 महिलाओं का कौशल विकास : डॉ. राजेश्वर सिंह ने हर वर्ग, विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्र और अल्प शिक्षित वर्ग की महिलाओं को आगे बढाने के उद्देश्य से इस पहल की शुरुआत की। सिलाई – कढाई महिलाओं का परंपरागत कौशल माना जाता रहा है, फिर भी शुरूआती दौर में इन केन्द्रों की स्थापना के लिए विधायक और उनकी टीम को काफी मसक्कत करनी पड़ी लेकिन धीरे – धीरे बड़ी संख्या में महिलायें इस पहल से जुडती गईं और आज सरोजनी नगर में 140 केंद्र संचालित हैं, 50 से अधिक केन्द्रों की स्थापना प्रक्रियाधीन है।

3 संगठन शक्ति : आज सरोजनीनगर में ताराशक्ति केन्द्रों से जुडी महिलाओं की मजबूत संगठन शक्ति है। डॉ. सिंह ने सिलाई – कढाई के हुनर को रोजगार में बदलने के उद्देश्य से ताराशक्ति केन्द्रों से जुड़ने वाली महिलाओं को उनकी संगठन शक्ति का एहसास दिलाया। सभी केन्द्रों को महिला स्वयं सहायता समूहों में परिवर्तित किया गया। आज सरोजनीनगर में न केवल 140 ताराशक्ति केंद्र संचालित हैं बल्कि 10 हजार के करीब महिलायें भी स्वयं सहायता समूहों के माध्यम से संगठित हैं।

4 सामाजिक सुरक्षा : विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह के प्रयासों से ये केंद्र महिलाओं के लिए सामाजिक सुरक्षा का भी बेहतरीन माध्यम बन गए हैं। केंद्र सरकार और उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा महिलाओं के लिए संचालित सभी योजनाओं को इन केन्द्रों पर चस्पा किया जाता है। जो भी महिलायें इन योजनओं का पात्र होती हैं उन्हें योजना का लाभ भी दिलाया जाता है। यही नहीं इन केन्द्रों के माध्यम से अन्य ग्रामीण महिलाओं को भी उनसे जुडी कल्याणकारी योजना का लाभ पाने में सहायता मिलती है।

5 आर्थिक सशक्तिकरण और ग्लोबल ब्रांडिंग : सरोजनीनगर विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह का उद्देश इन केन्द्रों को टेक्सटाइल हब के रूप में जोड़ना है ताकि इन पर बन रहे उत्पादों की अपनी एक ग्लोबल ब्रांडिंग की जा सके। इस क्रम में महिलाओं को माइक्रो लेवल पर ट्रेनिंग दी जा रही है। ताराशक्ति स्टोर के माध्यम से स्थानीय बाजार में विशेष पहचान दिलाई गयी। विधायक का लक्ष्य ई कॉमर्स प्लेटफ़ॉर्मो के माध्यम से भी ताराशक्ति केन्द्रों के उत्पादों की ग्लोबल ब्रांडिंग करना है। यही नहीं विधायक ने तारा शक्ति केन्द्रों पर 20 हजार से ज्यादा इको फ्रेंडली बैग्स बनवाकर स्कूली बच्चों में वितरित किया।

इस अनोखी पहल से महिलाओं की जिंदगी बदल रहे डॉ. राजेश्वर सिंह की पहचान उत्तर प्रदेश ही नहीं बल्कि देश भर में उन गिने चुने जनप्रतिनिधियों के रूप में होती है, जो भावी पीढ़ी के उज्जवल भविष्य का निर्माण कर रहे हैं।

किया माई प्लेस कोवर्क द्वारा स्थापित स्टार्टअप्स के लिए लखनऊ के दूसरे को – वर्किंग स्पेस का उद्घाटन :

डॉ. राजेश्वर सिंह ने बुधवार को हजरतगंज में निजी संस्था माई कोवर्क स्पेस प्राइवेट लिमिटेड द्वारा शुरू किए गए लखनऊ के दूसरे को – वर्किंग स्पेस का उद्घाटन किया। इस दौरान डॉ. राजेश्वर सिंह ने केंद्र पर मौजूद युवा उद्यमियों से मिलकर इस स्पेस की कार्यप्रणाली को समझा और इस पहल के लिए संस्था के संस्थापक और सीईओ सुधांशु रस्तोगी का आभार व्यक्त किया।

इस अवसर पर युवा उद्यमियों को संबोधित करते हुए डॉ. सिंह ने बताया कि वर्ष 2016 में भारत में केवल 450 स्टार्टअप थे, जो अब बढ़कर 1 लाख 40 हजार से अधिक ( डीपीआईआईटी पंजीकृत) हो गए हैं। इन स्टार्टअप्स का विस्तार देश भर के 670 से अधिक जिलों में है। इनकी बदौलत भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा स्टार्टअप इकोसिस्टम बन गया है। भारत में 118 यूनिकॉर्न हैं, जिनकी वैल्यू 354 अमेरिकी डॉलर है। वित्त वर्ष 2023 में भारत की अर्थव्यवस्था में 140 बिलियन अमेरिकी डॉलर का योगदान, भारत की अद्वितीय उद्यमशील भावना का प्रत्यक्ष प्रमाण हैं।

स्टार्टअप्स के क्षेत्र में उत्तर प्रदेश का उल्लेख करते हुए सरोजनी नगर विधायक ने आगे जोड़ा, उत्तर प्रदेश 14,358 डीपीआईआईटी-पंजीकृत स्टार्टअप्स के साथ अग्रणी है, जिनमें से 7,332 महिलाएं नेतृत्व कर रही हैं। कार्यक्रम में सुधांशु रस्तोगी, संजीव रस्तोगी, राकेश रस्तोगी, भाजपा मंडल अध्यक्ष आनंद पांडेय, संजय गुप्ता (आदर्श व्यापर मंडल), लोकेश अवस्थी, इंद्र कुमार मिश्रा, डॉ. सुजात हैदर जाफरी, अमित त्रिपाठी, नीलेश कपूर, नितीश अग्रवाल, आयुषी शुक्ला, हर्षित श्रीवास्तव, प्रणव अग्रवाल व अन्य मौजूद रहे।

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